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संकुल स्तरीय आचार्य प्रशिक्षण वर्ग का हुआ शुभारंभ

संकुल स्तरीय आचार्य प्रशिक्षण वर्ग का हुआ शुभारंभ

दिबियापुर। सरस्वती शिशु /विद्या मंदिर इण्टर कॉलेज में संकुल दिबियापुर का आचार्य प्रशिक्षण वर्ग प्रारम्भ हुआ, इस अवसर पर मुख्य अतिथि डॉ राकेश तिवारी प्राध्यापक वी.जी.एम. महाविद्यालय,विद्यालय के प्रबंधक नरेंद्र त्रिपाठी , स्थानीय विद्यालय के प्रधानाचार्य सुशील कुमार तिवारी, विद्या मंदिर इटावा के प्रधानाचार्य भारत सिंह, विद्या मंदिर विधूना के प्रधानाचार्य राम कृष्ण त्रिवेदी, औरैया विद्या मंदिर के प्रधानाचार्य योगेन्द्र द्विवेदी, शिशु मंदिर ककराही बाजार के प्रभारी जय नारायण , शिशु मंदिर झींझक के प्रधानाचार्य अजय कृष्ण तथा शिशु मंदिर औरैया की प्रधानाचार्या सीमा शुक्ला ने दीप प्रज्ज्वलित एवम् पुष्पार्चन कर कार्यक्रम का शुभारंभ किया। इस अवसर पर श्रीमान भारत सिंह जी ने सभी आए हुए अतिथियों को परिचय करवाया।

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प्रशिक्षण वर्ग के उद्धघाटन सत्र में प्रधानाचार्य सुशील कुमार तिवारी ने कार्यक्रम की प्रस्तावना तथा नई शिक्षा नीति के क्रियान्वयन के बारे में विस्तृत रूप से सभी आचार्यों को जानकारी प्रदान की, उन्होंने बताया कि 5+3+3+4 शिक्षा नीति के तहत सबसे पहला चरण ECCE (Early Child Care Education) आंगवाड़ी केंद्र की तरह विद्या भारती में शिशु वाटिका का क्रियान्वयन किया गया है तथा उन्होंने पांच आधारभूत विषय, आयामों , गतिविधियां तथा पंच प्राण के बारे में भी विस्तृत जानकारी प्रदान की तथा छात्रों एवम् आचार्यों की स्वास्थ्य परीक्षण (बैटरी टेस्ट) के लिए जागरूक किया तथा मासांत में आचार्यों के दक्षता वर्ग लगाने के लिए संकुल के सभी प्रधानाचार्यो को प्रेरित किया।

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द्वितीय सत्र में भारत सिंह ने पोषक ग्राम योजना के बारे में जानकारी प्रदान की। तृतीय सत्र में डॉ राकेश तिवारी प्राध्यापक वी.जी.एम. महाविद्यालय ने नई शिक्षा नीति 2020 के सम्बन्ध में बताया कि अब छात्रों को किसी भी संकाय में बंध कर नही रहना होगा, अब वो किसी भी विषय के साथ अपनी पढ़ाई जारी रख सकता है, अब विषय केंद्रित शिक्षा है, नई शिक्षा नीति में छात्र के सर्वांगीण विकास पर केंद्रित है, अब छात्रों को प्रौद्योगिकी और डिजिटाइजेशन पर बल देना है, जिससे वो किसी का नौकर नही बल्कि मालिक बन सके। अब परीक्षा में भी सेमेस्टर प्रणाली लागू हो गई हैं।

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समापन सत्र में डॉ डी पी सिंह जी पूर्व प्राचार्य वी.जी.एम महाविद्यालय ने बताया कि आचार्य छात्रों को संस्कार के साथ साथ राष्ट्रवादी की शिक्षा प्रदान करते है। छात्र जो भी बनता है वो अपने संस्कारों से बनता है, तथा किसी शिक्षक को बच्चे उसके शिक्षण कौशल से अभिभूत होकर के उसको सम्मान देते है। प्रबंधक डॉ नरेंद्र त्रिपाठी ने आए हुए अतिथियों का आभार प्रकट किया। तथा संघ प्रार्थना के बाद प्रशिक्षण वर्ग का समापन हुआ। इस अवसर पर संकुल के सभी विद्यालयों के आचार्य व आचार्या बहिनों ने सहभागिता की।

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