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ऐतिहासिक पक्का तालाब में फिर हुई हजारों मछलियों की मौत

ऐतिहासिक पक्का तालाब में  फिर हुई हजारों मछलियों की मौत

ऐतिहासिक पक्का तालाब में फिर हुई हजारों मछलियों की मौत

फफूंद। नगर के कोठीपुर मार्ग पर स्थित ऐतिहासिक पक्का तालाब में इस वर्ष फिर हजारों मछलियां मर जाने से लोगों में तरह तरह की चर्चाएं हो रहीं   हैं। लोगों का मानना है कि किसी ने जहरीला पदार्थ तालाब में डाला है जिससे मछलियों की मौत हुई है वहीं कोई दूषित पानी से मछलियों की मौत बता रहा है । मत्स्य पालन वालों को बुलाया गया है वह ही इन मछलियों की मौत का सही कारण बतायेंगे । इसी तरह पिछले वर्ष भी हजारों मछलियों की मौत हो गयी थी जिनका कारण आज तक पता नहीं चल सका है ।

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रविवार सुबह नगर के लोग कोठीपुर मार्ग पर टहलने गए तो उन्होने नगर के ऐतिहासिक चौबे के तालाब पर हजारों मृत्य मछलियों को पानी मे तैरते हुए देखा जिसके बाद यह खबर नगर व क्षेत्र में फैल गयी और लोग वहां एकत्रित हो गए और लोगों में तरह तरह की बातें होने लगीं । लोगों का कहना था कि तालाब के दूषित पानी की वजह से हजारों मछलियों की मौत हो गयी तो वहीं कुछ लोगों का कहना है कि लगता किसी ने तालाब में कोई जहरीला पदार्थ डाल दिया जिससे हजारों मछलियों की मौत हो गयी। बताते चलें कि नगर का यह ऐतिहासिक तालाब धार्मिक आस्था का केंद्र भी माना जाता है।

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साथ ही नगर व क्षेत्र की जनता के लिए तालाब लाभकारी भी है जहां रोज़ सुबह तालाब पर अनेको लोग नहाने व कपड़े धुलने जाते हैं तो वहीं शाम होते  ही लोग तालाब की मछलियों को दाना व लाही खिलाने भी जाते हैं। तालाब की हजारों मछलियों के मर जाने पर लोगों में आक्रोश है। नगर के लोगों का कहना है कि पिछले वर्ष भी हजारों मछलियों की मौत हुई थी जिसका कारण आज तक नहीं पता चल पाया और इस वर्ष फिर हजारों मछलियों की मौत हो गयी है वहीं लोगों का कहना था कि क़ई सालों से तालाब की सफाई नहीं हुई है और तालाब में पानी का अभाव भी है।

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इस सम्बंध में नगर पंचायत फफूंद के अधिशाषी अधिकारी अमित कुमार सक्सेना ने बताया कि सम्भवतः भीषण गर्मी और प्रदूषण की वजह से मछलियों की मौत हुई है । मत्स्यपालन वालों को बुलाया है वह सेम्पल लेंगे उसके बाद ही मछलियों की मौत के कारण का सही पता चलेगा । उन्होंने कहा कि अभी नहर नहीं आयी है नहर आएगी तो तालाब में पानी भरवाया जाएगा।

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