Home देशशहर और राज्यउत्तर प्रदेशकानपुरऔरैया युवक ने नीम के पेड़ पर रस्सी के सहारे लटक कर दी जान

युवक ने नीम के पेड़ पर रस्सी के सहारे लटक कर दी जान

by Tejas Khabar
युवक ने नीम के पेड़ पर रस्सी के सहारे लटक कर दी जान

शव को पेड़ पर लटका देख परिजनों में मचा कोहराम

औरैया। बिधूना कोतवाली क्षेत्र की चौकी रूरूगंज के गांव साहूपुर में बीती रात एक युवक ने अज्ञात कारणों से अपने घर के बहार नीम के पेड़ पर बकरी बांधने वाली रस्सी से लटक कर आत्महत्या कर ली। सुबह जानवरों को चारा करने के लिए उठीं मां व चाची ने युवक का शव नीम के पेड़ से लटका देखा तो कोहराम मच गया। सूचना पर पहुंची पुलिस ने शव को नीचे उतरवाया। परिजनों ने शव का पोस्टमार्टम करने से मना कर दिया।
जानकारी के अनुसार कोतवाली बिधूना क्षेत्र के गांव साहूपुर निवासी राकेश कुमार पाल का बड़ा लड़का आशीष कुमार उर्फ कल्लू (20 वर्ष) बुधवार को खाना खाकर अपनी मां पुष्पा देवी के पास लेटा था। पुष्पा को फीवर था। रात में बारिश होने से पहले आशीष ने मां के पास से उठकर बकरी बांधने वाली रस्सी से घर के बहार खड़े नीम के पेड़ पर लकटकर फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली।

यह भी देखें : कलयुगी माँ ने अपने दो मासूम पुत्रों का गला घोंटा

गुरुवार की सुबह करीब 5:15 बजे मां पुष्पा देवी व चाची सीमा देवी पत्नी उमेश चन्द्र जानवरों के चारा करने के लिए उठी तो उनकी निगाह नीम के पेड़ पर पड़ी। जिस पर आशीष का शव लटकता देखा तो कोहराम मच गया। परिजनों ने घटना की सूचना पुलिस को दी। मौके पर पहुंची पुलिस ने ग्रामीणों के सहयोग से शव को नीचे उतारा। पिता राकेश कुमार व मां पुष्पा ने पुत्र के शव का पोस्टमार्टम करने से मना कर दिया। जिसके बाद सीओ अशोक कुमार सिंह, कोतवाली प्रभारी बृजेन्द्र सिंह व चौकी प्रभारी मुलेन्द सिंह ने पंचनामा भर कर शव को परिजनों को सौप दिया गया।

यह भी देखें : इटावा में खराब बीज से बर्बाद हुयी मक्का की फसल

कोतवाली प्रभारी बृजेन्द्र सिंह ने बताया कि एक युवक ने नीम के पेड़ से लटक कर आत्महत्या कर ली है। परिजनों ने शव का पोेस्टमार्टम कराने से मना कर दिया। जिस कारण पोस्टमार्टम नहीं कराया जा सका है। पंचनामा भरकर परिजनों को सौंप दिया गया है। युवक ने आत्महत्या किस कारण से की इसका कोई पता नहीं चला है। जबकि रात में वह मां के पास सोया था। मां पुष्पा देवी ने बताया कि उसे फीवर था तो वह शाम को जल्दी लेट गयी। इसी बीच आशीष ने खाना मांगा तो उसने कहा कि कटोरदान में रखा है। जिसके बाद वह सो गयी‌। आशीष ने खाना खाया और दो पूड़ी छोड़ दीं। आशीष ने रात बकरियां खोल दी और रस्सी निकाल ले गया। जब पानी बरसा और मेरी आंख खुली तो आशीष दिखाई नहीं दिया। मुझे लगा शौचक्रिया आदि को गया होगा। आशीष के पिता राकेश व छोटा भाई अर्पित उर्फ हैप्पी फरीदाबाद में रहकर प्राइवेट नौकरी करते हैं। आशीष मां के साथ घर पर रहता था। एक बहन संध्या है। जिसकी मैनपुरी के ग्राम महीदाबाद निवासी दीपक के साथ शादी हुई है।

You may also like

Leave a Comment