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यूपी में सर्पदंश को राज्य आपदा किया गया घोषित

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मैनपुरी - 43 वर्ष पूर्व जमीनी  विवाद को लेकर हुए चौहरे हत्याकांड में फरार चल रहे हत्यारोपी यतेंद्र त्रिपाठी को पुलिस ने सोमवार को  गिरफ्तार कर लिया है। घटना के बाद फरार चल रहे आरोपी की गिरफ्तारी के लिए 10 हजार रुपए का इनाम भी घोषित किया गया था। हत्यारोपी पहचान छुपाकर लखनऊ के आशियाना में रह रहा था। सीओ अमर बहादुर सिंह के नेतृत्व में किशनी कुसमरा पुलिस की टीमों ने आरोपी की गिरफ्तारी कर ली और पूछताछ के बाद आरोपी को जेल भेजा गया है।       मामला किशनी थाना क्षेत्र के ग्राम नगला तारा में 5 जून 1978 को जमीनी विवाद को लेकर मदन सिंह पुत्र विजय बहादुर, महेंद्र पुत्र विजय बहादुर, सरवन पुत्र तेज बहादुर, ललित पुत्र कौशलेंद्र उर्फ नेकसे की हत्या कर दी गई थी। इस चौहरे हत्याकांड में 6 आरोपियों के खिलाफ किशनी थाना क्षेत्र में मुकदमा दर्ज हुआ था। जिसमें पुलिस ने उपरोक्त सभी आरोपियों को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया था। इस सामूहिक हत्याकांड में  पांच आरोपियों को 1981 में आजीवन कारावास की सजा अपर जिला जज द्वितीय मैनपुरी कोर्ट में सुनाई गई थी। तो वही यतेंद्र इस मामले में 57 दिन जेल में रहा और जमानत पर बाहर आ गया। इसी बीच हत्यारोपी गजेंद्र ने आजीवन कारावास की सजा के फैसले के खिलाफ हाई कोर्ट में अपील दायर की जिसमें यतेंद्र समेत पांचों आरोपियों को जमानत मिल गई।
यूपी में सर्पदंश को राज्य आपदा किया गया घोषित

अब सांप के काटने से मौत पर मिलेगा 4 लाख का मुआवजा, योगी सरकार का ऐलान

लखनउ । मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के आदेश पर शासन ने राज्य के सभी जिलाधिकारियों को सर्पदंश के राज्य आपदा घोषित करने संबंधी निर्देश जारी कर दिए हैं।. इस आदेश के मुताबिक, मृतक के परिवार को 4 लाख रुपए का आर्थिक मुआवजा दिया जाएगा.।घटना के 7 दिन के भीतर परिजनों को मुआवजा मिलेगा ।

उत्तर प्रदेश में योगी सरकार ने सर्पदंश से होने वाली मौतों को राज्य आपदा घोषित किया है.। यानी अब राज्य में सांप से काटने पर अगर किसी की मौत होती है, तो उसके परिजनों को सरकारी मुआवजा मिलेगा. आदेश के मुताबिक, सर्पदंश के मृतक के परिवार को 4 लाख रुपए की आर्थिक मदद मिलेगी।

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7 दिनों में मिलेगा मुआवजा

खास बात यह है कि सरकार ने साफ कर दिया है कि सर्पदंश के मृतक के आश्रितों को आर्थिक सहायता के लिए विभागों के चक्कर ना काटने पड़ें. आदेश के मुताबिक, सभी संबंधित अधिकारियों से घटना के 7 दिन के भीतर सरकारी मुआवजे की राशि देने के लिए कहा गया है।

पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट होगी जरूरी

सर्पदंश को राज्य आपदा घोषित किया गया है. ऐसे में अब मौत के बाद पोस्टमार्टम और बिसरा रिपोर्ट जरूरी होगी. शासन ने साफ कर दिया है कि सर्पदंश से हुई मौत पर मृतकों के आश्रितों को आर्थिक सहायता के लिए मौत के प्रमाण के लिए बिसरा रिपोर्ट का इंतजार नहीं करना पड़ेगा. अब मौत के बाद पंचनामा और पोस्टमार्टम रिपोर्ट के आधार पर ही 7 दिनों के अंदर उन्हें सरकार की ओर से आर्थिक सहायता मिल जाएगी।

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