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एक शिक्षिका के सहारे स्कूल

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एक शिक्षिका के सहारे स्कूल

एक शिक्षिका के सहारे स्कूल

  • 101 छात्रों को अकेले पढ़ा रही है शिक्षिका
  • नौनिहालों के लिये अलख जगा रही शिक्षिका

फर्रुखाबाद। उत्तर प्रदेश के फर्रुखाबाद जिले में राजेपुर ब्लाक क्षेत्र में ग्राम विरसिंहपुर के उच्च प्राथमिक विद्यालय में 101 बच्चों को अकेली शिक्षिका नीलम राठौर पढ़ा रही है। उन्होंने बताया कि परेशानियां तो हैं पर परेशानियों से पार पाने में हम सक्षम हैं। शिक्षिका नीलम राठौर एक कमरे में सभी क्लासों के बच्चों को बैठाकर पढ़ाती हुई मिली. उन्होंने बताया कि परेशानियां तो हैं पर परेशानियों से पार पाने में हम सक्षम हैं। इस विद्यालय में मैं अकेली शिक्षिका हूं। इसमें 101 बच्चे पंजीकृत हैं. 90% बच्चे स्कूल में पढ़ने आते हैं। इस बार ग्रीष्म काल में जो स्कूल खुले हैंउसमें बच्चे 90 परसेंट स्कूल में आकर पढ़ते हैं। एकल विद्यालय में जाहिर सी बात है कि परेशानियां होती हैं।

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विषय वार टीचर होते हैं।  क्योंकि बच्चे बहुत लगन सील हैं। यह विद्यालय काफी समय से एकल विहीन रहा है। बच्चे बहुत कॉर्पोरेट करते हैं गांव वाले भी कॉर्पोरेट करते हैं। मैं लगातार प्रयासरत रहती हूं कि किसी प्रकार की बच्चों को दिक्कत ना आए और लगातार बच्चे 90% स्कूल में आकर पढ़ते पढ़ रहे हैं। बच्चों के लिए ग्रुप रीडिंग इस्तेमाल की है। जिसमें ग्रुप बनाकर बच्चों को शिक्षा देने की रणनीति रहती है। उनका कहना है कि जो बच्चे होशियार होते हैं।  उनके साथ कमजोर बच्चों का तालमेल रख के बच्चों को शिक्षा ग्रहण करवा रही हैं। अगर कोई बच्चा अपने साथी का मनोबल बड़ा पा रहा है तो उसके लिए हम बच्चे के लिए पुरस्कार रखते हैं।

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मैं सामाजिक विषय की टीचर हूं मुझे मैथ पढ़ाने में कोई बहुत ज्यादा दिक्कत नहीं है मेरी इतनी पकड़ इस सब्जेक्ट पर नहीं है फिर भी मैं प्रयास कर रही हूं कि इनको कोई दिक्कत ना आए।  उन्होंने कहा जितना होना चाहिए उतना बच्चों के लिए नहीं हो पा रहा है।  1 की पावर 3 की पावर में अंतर होता है। अगर इस स्कूल में शिक्षक आ जाए तो बच्चों का भविष्य और उज्जवल हो जाएगा फिर भी हम जिस स्थिति में है उसमें बेहतर करने का प्रयास कर रहे हैं।  बच्चों के लिए क्लास रूम में एसी अध्यापिका ने लगवा रखा है। उनका कहना है कि सभी बच्चों को एकत्रित करके टीवी पर स्मार्ट क्लास के जरिए बेहतर बनाने का प्रयास रहता है. 90 बच्चों को एक साथ बैठाने पर गर्मी लगती है।

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इसीलिए एसी लगवा रखा है। स्मार्ट क्लास से बच्चे प्रैक्टिकली समझ सकते हैं। उन्होंने बताया कि पहले और आपके सिस्टम में अंतर है। अभी हम सब लोग लखनऊ से सीधे जुड़े हुए हैं। सारी चीजें वहां पर अवगत हैं। स्कूल में पढ़ने वाली छात्रा राधा व काम्या ने बताया कि मैम अकेली है फिर भी वह सारे क्लास के बच्चों को पढ़ाती हैं। मैडम बहुत बखूबी हम लोगों का ध्यान रखती हैं और अच्छे से शिक्षा ग्रहण करवा रही हैं।  उसने बताया कि अगर जिस सब्जेक्ट में दिक्कत आती है तो वह टीवी के जरिए मैडम समझाने का प्रयास करती हैं।  वही बच्चों के अभिभावकों ने बताया कि विद्यालय में अकेली शिक्षिका ही पढ़ा रही हैं फिर भी वह अच्छा काम कर रही हैं अगर विद्यालय में शिक्षक और आ जाएं तो बच्चों का भविष्य और सुधरेगा।

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