नई दिल्ली। केंद्र ने कुछ देशों में कोरोना वायरस के अत्यधिक उत्परिवर्तित स्वरूप ओमीक्रोन के उभरने के मद्देनजर मंगलवार को देशव्यापी कोविड-19 रोकथाम उपायों की अवधि 31 दिसंबर तक बढ़ा दी और राज्यों को सतर्क रहने को कहा। केंद्रीय गृह सचिव अजय भल्ला ने एक पत्र-व्यवहार में राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों को केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय द्वारा 25 नवंबर को जारी किये गए परामर्श का सख्ती से पालन करने के लिए कहा। इस परामर्श में सभी अंतरराष्ट्रीय यात्रियों की कड़ी निगरानी और जांच की सिफारिश की गई है।
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भल्ला ने यह भी कहा कि अंतरराष्ट्रीय यात्रियों के संपर्क में आए लोगों का पता लगाकर स्वास्थ्य मंत्रालय के दिशानिर्देशों के अनुसार उनकी जांच की जानी चाहिये। साथ ही भारतीय सार्स-कोव-2 जीनोम समूह मार्गदर्शन दस्तावेज (आईएनएसएसीओजी) के अनुसार ऐसे यात्रियों के नमूनों को तुरंत नामित जीनोम अनुक्रमण प्रयोगशालाओं में भेजा जाना चाहिए। उन्होंने कहा कि राज्यों के निगरानी अधिकारियों को जीनोम विश्लेषण के परिणामों में तेजी लाने के लिए जीनोम अनुक्रमण प्रयोगशालाओं के साथ घनिष्ठ समन्वय स्थापित करना चाहिए, और राज्यों तथा केंद्रशासित प्रदेशों को चिंताजनक स्वरूपों की मौजूदगी के बारे में पता चलने पर तुरंत आवश्यक सार्वजनिक स्वास्थ्य उपाय करने चाहिए।
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गृह सचिव ने निर्देश दिया कि मौजूदा कोविड -19 रोकथाम उपायों को 31 दिसंबर तक जारी रखा जाना चाहिए। इसके अलावा मंगलवार को केंद्रीय स्वास्थ्य सचिव राजेश भूषण ने राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों के साथ समीक्षा बैठक की और उन्हें मामलों की जल्द पहचान करने और उनसे निपटने के लिए जांच तेज करने की सलाह दी। स्वास्थ्य मंत्रालय के अनुसार भूषण ने रेखांकित किया कि नया स्वरूप आरटी-पीसीआर और आरएटी परीक्षणों से बच नहीं सकता।
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उन्होंने राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों को पर्याप्त बुनियादी ढांचा सुनिश्चित करने और गृह पृथकवास में रह रहे लोगों की निगरानी करने का निर्देश दिया। स्वास्थ्य मंत्रालय के मंगलवार को अद्यतन आंकड़ों के अनुसार भारत में कोरोना वायरस संक्रमण के 6,990 नए मामले सामने आने के बाद संक्रमितों की कुल संख्या 3,45,87,822 हो गई। उपचाराधीन रोगियों की संख्या गिरकर 1,00,543 रह गई है। इसके अलावा 190 और रोगियों की मौत के साथ मृतकों की तादाद 4,68,980 पर पहुंच गई है।